हरारे। शुभमन गिल की अगुआई वाली युवा भारतीय टीम बल्लेबाजों के निराशाजनक प्रदर्शन के कारण शनिवार को यहां पांच मैच की श्रृंखला के पहले टी20 अंतरराष्ट्रीय मुकाबले में कम अनुभवी जिम्बाब्वे से 13 रन से पराजित हो गई। लेग स्पिनर रवि बिश्नोई की अगुआई में भारतीय गेंदबाजों ने जिम्बाब्वे को नौ विकेट पर 115 रन पर रोक दिया। पर उछाल भरी पिच पर भारतीय बल्लेबाजों को काफी मुश्किल आयी जिसने पावरप्ले में चार विकेट गंवा दिये और पूरी टीम 19.5 ओवर में 102 रन पर सिमट गयी। हाल में टी20 विश्व कप जीतने वाले भारत ने इस दौरे पर युवा खिलाड़ियों को उतारा था और उनके आसानी से जिम्बाब्वे पर जीत की उम्मीद थी।
लेकिन जिम्बाब्वे ने तेज गेंदबाज टेंडाई चतारा (16 रन देकर तीन विकेट) और कप्तान सिंकदर रजा (25 रन देकर तीन विकेट) की बदौलत भारत को हराकर उलटफेर कर दिया। यह 2024 में भारत की टी20 अंतरराष्ट्रीय में पहली हार थी। यह आठ साल में जिम्बाब्वे के खिलाफ भारत की पहली हार भी है। इस मैच में भारत ने तीन खिलाड़ियों को पदार्पण कराया। पदार्पण करने वाले अभिषेक शर्मा (शून्य) खाता भी नहीं खोल सके और पारी के पहले ही ओवर में ब्रायन बेनेट की गेंद पर डीप स्क्वायर लेग पर वेलिंगटन मास्काद्जा को कैच देकर आउट हुए। रूतुराज गायकवाड (07) ने नौ गेंद खेलकर एक चौका ही लगाया था कि ब्लेसिंग मुजारबानी की गुडलेंथ गेंद उनके बल्ले के किनारे से लगकर इनोसेंट काइया के हाथों में समां गयी।
चतारा ने रियान पराग (02) और रिंकू सिंह (शून्य) दोनों को पांचवें ओवर में आउट किया जिससे भारतीय टीम का स्कोर चार विकेट पर 22 रन हो गया। कप्तान शुभमन गिल (31 रन) एक छोर पर डटे थे और दूसरे छोर पर लगातार विकेट गिरते देख रहे थे। विकेटकीपर बल्लेबाज ध्रुव जुरेल (06) के 10वें और कप्तान गिल के 11वें ओवर में आउट होते ही पूरे ओवर तक टिकने की उम्मीद भी खत्म हो गई। पर आवेश खान (16 रन) और वाशिंगटन सुंदर (27 रन) ने आठवें विकेट के लिए 23 रन जोड़कर भारत को 84 रन तक पहुंचाया।
अंतिम ओवर में भारत को 16 रन चाहिए थे और एक विकेट बाकी था जिसके गिरते ही पारी खत्म हो गई। इससे पहले बिश्नोई (13 रन देकर चार विकेट) को ऑफ स्पिनर वाशिंगटन (11 रन देकर दो विकेट) का अच्छा साथ मिला जिससे जिम्बाब्वे की टीम बल्लेबाजी का न्योता मिलने के बाद उछाल भरी पिच पर कोई मजबूत साझेदारी करने में जूझती नजर आयी। जिम्बाब्वे ने हालांकि तेज शुरुआत की और पावरप्ले में उसने दो विकेट पर 40 रन बना लिये थे। इनोसेंट काइया के मुकेश कुमार की गेंद पर आउट होने के बाद वेस्ली मधेवेरे (21 रन) और ब्रायन बेनेट (22 रन) ने तेजी से 34 रन जोड़े। इन दोनों ने बायें हाथ के तेज गेंदबाज खलील अहमद पर पांचवें ओवर में 17 रन जुटाये।
बेनेट ने इसमें लगातार दो चौके जड़े जिससे ऐसा लग रहा था कि जिम्बाब्वे शुरूआती झटके से उबर रहा है। पर छठे ओवर में बिश्नोई ने बेनेट को अपनी गुगली पर आउट कर जिम्बाब्वे की पारी का रुख ही बदल दिया। फिर जिम्बाब्वे के तीन और बल्लेबाज पवेलियन लौट गये जिसमें मधेवेरे के अलावा ब्लेसिंग मुजारबानी और ल्यूक जोंगवे शामिल थे। कप्तान सिकंदर रजा (17 रन) के संयम से टीम ने संभलने की कोशिश की लेकिन लय खोने के कारण 41 रन पर छह विकेट गंवा बैठी। टीम में हड़बड़ाट साफ दिख रही थी। जिम्बाब्वे के पूर्व कप्तान एलिस्टेयर कैंपबेल के बेटे जोनाथन कैंपबेल (शून्य) आवेश खान की गेंद को कवर्स की ओर भेजकर एक रन लेना चाहते थे और उनके साथी डियोन मायर्स भी तैयार थे।
लेकिन कैंपबेल अचानक मन बदलकर रूक गये और रन आउट हो गये। अब जिम्बाब्वे की उम्मीदें कप्तान रजा पर लगी थीं, उन्होंने आवेश पर सिर के ऊपर से छक्का जड़कर उम्मीद जगाई। पर आवेश ने अतिरिक्त उछाल का पूरा फायदा उठाते हुए रजा को जल्द ही आउट कर दिया। रजा गेंद को सही तरह से टाइम नहीं कर सके और गेंद डीप में बिश्नोई के हाथों में पहुंच गयी। वाशिंगटन ने लगातार दो गेंदों पर दो विकेट झटके। उन्होंने मायर्स (23 रन) और वेलिंगटन मास्काद्जा (शून्य) को पवेलियन भेजा। तमिलनाडु के इस गेंदबाज ने इस तरह टी20 में अपने 100 विकेट भी पूरे किये। क्लाइव मदांडे के नाबाद 29 रन की बदौलत जिम्बाब्वे 100 रन का आंकड़ा पार कर पायी।